अभी ख़ून से शेर लिखने हैं हमको— डॉ. उर्मिलेश :: वशिष्ठ अनूप

अभी ख़ून से शेर लिखने हैं हमको— डॉ. उर्मिलेश वशिष्ठ अनूप   परिंदों में कोई फ़िरकापरस्ती क्यों नहीं होती, कभी मंदिर पे जा बैठे, कभी...

विशिष्ट गीतकार :: अनामिका सिंह

अनामिका सिंह के दस गीत शाम सबेरे शगुन मनाती  शाम सबेरे शगुन मनाती खुशियों की परछाई अम्मा की सुधि आई । बड़े सिदौसे उठी बुहारे...

अदम्य :बिहार के युवा ग़ज़लकार :: देवयानी झाडे

अदम्य :बिहार के युवा ग़ज़लकार ‘अदम्य’ ग़ज़ल-संग्रह अपने समय की तमाम दबी कुचली और पीड़ित आवाजों को मुखर बनाने में सफल हुआ है| यह पुस्तक...