विशिष्ट कहानीकार :: श्यामल बिहारी महतो

मंसूबा           –  श्यामल बिहारी महतो उन दिनों पत्नी के साथ मेरा भारत चीन जैसा ताना तनी चल रही थी । तभी मैने पाकिस्तान जैसा एक…

विशिष्ट कथाकार :: सीमा सिंह

परिवार पूरे मोहल्ले के लिए पहेली था ये परिवार। परिवार भी क्या एक करीब साठ पैंसठ साल के वृद्ध और एक सुदर्शन युवक। सब उनको विनोद बाबू के नाम से…

विशिष्ट कहानीकार : ऋचा वर्मा

ऋण  ऋचा वर्मा   शहर के इस पांच सितारा होटल का बैंक्वेट हॉल बत्तियों और गुब्बारों से सजा हुआ था। रामरूप सिल्क का कुर्ता और झकाझक सफेद पजामा पहने कार्यक्रम…

विशिष्ट कहानीकार :: डाॅ. सुशांत कुमार

लॉकडाउन – डाॅ. सुशांत कुमार मुनिया के बियाह वैशाख में बा, एहि ख़ातिर एकर बाबू दिल्ली कमाए गेल रहनए बिना दाना.पानी के दू दिन से घर में बंद बारन। पता…

विशिष्ट कथाकार :: राजनारायण बोहरे

अम्माँ  का समय – राजनारायण बोहरे अम्माँ लगभग मेरे सिर पर खड़ी हो पूछ रहीं थीं कि मैं क्या खोज रहा हूं? उन्हें भला कहाँ सुहाता कि उनके एकल संसार…

विशिष्ट कहानीकार :: विनीता परमार

पानी पर पाँव विनीता परमार उसे बचपन से ही पानी से लगाव था। घंटों खड़े होकर पानी का बहना देख सकती थी। नदी के किनारे बैठ जाती फिर किसी से…

विशिष्ट कहानीकार :: नीरज नीर

दर्द न जाने कोई नीरज नीर बरसात के बाद नदी जब अपना पानी समेटती है तो कुछ पानी किनारे के गड्ढों में छोड़ती चली जाती है। मुख्य धारा से पीछे…