विशिष्ट कवयित्री :: डॉ राजवंती मान
सामर्थ्य मुझ पर विश्वास रखो मेरी दोस्त ! मैं तुम्हारे शिथिल / मरणासन्न अंगों को उद्दीप्त करुँगी करती रहूंगी भरती रहूंगी / तुम्हारी पिचकी धमनियों में अजर उमंगें लहू में…
सामर्थ्य मुझ पर विश्वास रखो मेरी दोस्त ! मैं तुम्हारे शिथिल / मरणासन्न अंगों को उद्दीप्त करुँगी करती रहूंगी भरती रहूंगी / तुम्हारी पिचकी धमनियों में अजर उमंगें लहू में…
हेमलता – एक मखमली आवाज़ “अँखियों के झरोखों से, मैने देखा जो साँवरे तुम दूर नज़र आए, बड़ी दूर नज़र आए बंद करके झरोखों को, ज़रा बैठी जो सोचने मन…
कवि स्वप्निल श्रीवास्तव से युवा कवि राजीव कुमार झा की बातचीत राजीव –आप लम्बे समय से लेखन कर रहे हैं । आपने कविता लेखन कब शुरू किया था और साहित्यिक पत्र…
विलक्षण, बिंब, प्रतीक और भाषा का संगम ‘ईश्वर का अनुवाद करते हुए’ ‘ईश्वर का अनुवाद करते हुए’ वरिष्ठ कवि डॉक्टर स्वदेश कुमार भटनागर का सद्य प्रकाशित गद्य कविता- संग्रह है,…
ट्वईंटी-ट्वईंटी के प्लाट पर प्रेम – चित्तरंजन कुमार किस-किस को बताएँगे जुदाई का सबब हम तू मुझसे खफा है तो जमाने के लिए आ -अहमद फराज बातें हुई तो प्रेम,…
सुधीर कुमार प्रोग्रामर की पांच ग़ज़लें 1 लगाकर आग बस्ती से निकल जाने की आदत है जिन्हें हर बात में झूठी कसम खाने की आदत है चुराकर गैर के आंसू…
1 बहुत बारीकियों से तोलता है खरा सिक्का कभी जब बोलता है नसीहत है के उससे बच के रहिए जो कानों में ज़हर को घोलता है किसी के वश में…
1 ये है मेरा ये है तेरा को किनारा रखना मेरा भारत तो हमारा था हमारा रखना कहा इकबाल ने सारे जहाँ से अच्छा था हमारे देश को वैसा ही…
कब्र की मिट्टी – चाँदनी समर सर्दी और बढ़ गई थी। मैने लिहाफ़ खींच खुद को उसमे लपेट लिया कि आज देर तक सोऊंगी । वैसे भी रविवार है। मगर…
सामाजिक दायित्व के बोध की ग़ज़लें :: चुप्पियों के बीच मुकेश कुमार सिन्हा वो विज्ञान की विद्यार्थी रहीं हैं। रसायन शास्त्र पसंदीदा विषय है। फिर भी साहित्य में गहरी…