विशिष्ट गीतकार :: धीरज श्रीवास्तव
(1) क्या रक्खा अब यार गाँव में! नहीं रहा जब प्यार गाँव में! बड़कन के दरवाजे पर है खूँटा गड़ा बुझावन का! फोड़ दिया सर कल्लू ने कल अब्दुल और…
(1) क्या रक्खा अब यार गाँव में! नहीं रहा जब प्यार गाँव में! बड़कन के दरवाजे पर है खूँटा गड़ा बुझावन का! फोड़ दिया सर कल्लू ने कल अब्दुल और…
वो लड़की संजीव जैन यह वैसी लड़की नहीं है, जैसी आमतौर पर जीवन की सतह पर अतराती दिखाई जाती हैं। वो लड़की एक साधारण किस्म की बहुत साधारण लड़की है।…
नारी चेतना के दोहे : हरेराम समीप हर औरत की ज़िंदगी, एक बड़ा कोलाज इसमें सब मिल जाएँगे, मैं, तुम, देश, समाज नारी तेरे त्याग को, कब जानेगा विश्व थोड़ा…
सामर्थ्य मुझ पर विश्वास रखो मेरी दोस्त ! मैं तुम्हारे शिथिल / मरणासन्न अंगों को उद्दीप्त करुँगी करती रहूंगी भरती रहूंगी / तुम्हारी पिचकी धमनियों में अजर उमंगें लहू में…
हेमलता – एक मखमली आवाज़ “अँखियों के झरोखों से, मैने देखा जो साँवरे तुम दूर नज़र आए, बड़ी दूर नज़र आए बंद करके झरोखों को, ज़रा बैठी जो सोचने मन…
कवि स्वप्निल श्रीवास्तव से युवा कवि राजीव कुमार झा की बातचीत राजीव –आप लम्बे समय से लेखन कर रहे हैं । आपने कविता लेखन कब शुरू किया था और साहित्यिक पत्र…
विलक्षण, बिंब, प्रतीक और भाषा का संगम ‘ईश्वर का अनुवाद करते हुए’ ‘ईश्वर का अनुवाद करते हुए’ वरिष्ठ कवि डॉक्टर स्वदेश कुमार भटनागर का सद्य प्रकाशित गद्य कविता- संग्रह है,…
ट्वईंटी-ट्वईंटी के प्लाट पर प्रेम – चित्तरंजन कुमार किस-किस को बताएँगे जुदाई का सबब हम तू मुझसे खफा है तो जमाने के लिए आ -अहमद फराज बातें हुई तो प्रेम,…
सुधीर कुमार प्रोग्रामर की पांच ग़ज़लें 1 लगाकर आग बस्ती से निकल जाने की आदत है जिन्हें हर बात में झूठी कसम खाने की आदत है चुराकर गैर के आंसू…
1 बहुत बारीकियों से तोलता है खरा सिक्का कभी जब बोलता है नसीहत है के उससे बच के रहिए जो कानों में ज़हर को घोलता है किसी के वश में…